शुक्ल-कृष्ण मिश्रित-ये कर्म साधारण जनता द्वारा बाह्य साधनोंका आश्रय लेकर शुभ-अशुभ रूप में किये जाते हैं।
3.
प्रश्न: तत्वों के अनुसार शुभ-अशुभ रूप (शक्ल) कौन से हैं? उत्तर: तत्वों के अनुसार शुभ अशुभ रूप इस प्रकार है।
4.
जन्मकुंडली में ग्रहों के सामंजस्य के अनुसार वह रत्न मानव के तंत्र को शुभ या अशुभ रूप में प्रभावित करता है या रत्न शास्त्र का विज्ञान।
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जन्मकुंडली में ग्रहों के सामंजस्य के अनुसार वह रत्न मानव के तंत्र को शुभ या अशुभ रूप में प्रभावित करता है या रत्न शास्त्र का विज्ञान।
6.
जन्मकुंडली में ग्रहों के सामंजस्य के अनुसार वह रत्न मानव के तंत्र को शुभ या अशुभ रूप में प्रभावित करता है या रत्न शास्त्र का विज्ञान।
7.
इसलिए इस प्रकार की स्थिति में सूर्य का रत्न धारण नहीं करना चाहिए तथा इसी प्रकार कुंडली में अशुभ रूप से कार्य कर रहे किसी भी ग्रह का रत्न धारण नहीं करना चाहिए।
8.
यदि यह अशुभ रूप में (उल्टा) आये तो दुर्भाग्य एवं परेशानियों का द्योतक है लेकिन इसका उल्टा चलना क्षण मात्र ही होता है क्योंकि यह पुनः समृद्धि की ओर बढ़ने लगता है।
9.
केतु यंत्र का प्रयोग अधिकतर ज्योतिषी किसी जातक की कुंडली में अशुभ रूप से कार्य कर रहे केतु की अशुभता को कम करने के लिए अथवा केतु द्वारा किसी कुंडली में बनाए जाने वाले दोष के निवारण के लिए करते हैं।
10.
इसलिए किसी कुंडली में अशुभ रूप से कार्य कर रहे ग्रहों की अशुभता को कम करने के लिए तथा इनसे कुछ विशेष प्रकार के लाभ प्राप्त करने के लिए मंत्रों, यंत्रों तथा कुछ अन्य प्रकार के उपायों का प्रयोग किया जाता है।
What is the meaning of अशुभ रूप in English and how to say ashubh rup in English? अशुभ रूप English meaning, translation, pronunciation, synonyms and example sentences are provided by Hindlish.com.